whats अप्प का सकारात्मक कार्य के लिए ही उपयोग कर अंगूठे पर रहम करे। whats अप्प सोशल नेट वर्किंग का उपयोग वर्तमान में बहुत बढ़ गया है। जिसके दो पहलू है अपनों को दूर कर दिया परायो को नजदीक कर दिया। सामने वाला कैसा है दोस्ती करने जैसा है की नही किन्तु प्रतिदिन गुड मोर्र्निंग गुड नाईट धन्यबाद जय जिन्नेंद्र अभिनन्दन करना नही भूलते।पुरुष प्रधान समाज में स्त्री युवान लडके लडकिया छोटे बच्चे भी काम पर लग गये है जो कुछ भी बिना काम के msg का आदान प्रदान करते रहते है। इन पर किसी प्रकार का कंट्रोल भी नही रहा मनमानी हो रही है। माताये अलग चाटिंग करती है टिनेज बच्चे अलग अलग चेटिंग करते है क्या करते है किसी को मालूम भी नही पड़ता क्योंकि इसमें डिलीट का आप्शन होता है जिसके कभी कभी दुष्परिणाम भी दीखते है कही क्रिमिनल या भाग जाने के लिए निमित बनते देखा गया है। घर में लैंडलाइन सयुक्त कुटुंब का प्रतीक था किन्तु सयुंक्त कुटुंब टूट रहे है और मोबाइल विभक्त कुटुंब की पहचान है।कभी कभी फेक न्यूज़ या अफवाह से समाज या देश को बहुत नुकसान हो जाता है। इसीलिए कहने को मन होता है:- मोबाइल पर whats app चलाते चलाते समझ में आ गया कि महाभारत में द्रोणाचार्य ने एकलव्य से अंगूठा मांग कर गलती नही की थी। --- via #Samvaad

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माँ का दर्द... "मनुष्य का शरीर सिर्फ 45 del (यूनिट) तक का ही दर्द सहन कर सकता है । पर बच्चे को जन्म देते समय एक माँ को 57 del (यूनिट) तक का दर्द होता है ।" यह 20 हड्डियों के एक साथ टूटने के बराबर है । जिसने आपके लिये इतना दर्द सहा हो, उसके दिल को कभी दर्द मत देना मित्रो.! .Agree frnds.???

बीवी और साली

पापा मुझे चोट लग गई..

रात का वक़्त था. बाहर बड़ी ठंड थी. पति पत्नी कार में जा रहे थे. सड़क किनारे पेड़ के नीचे पतली पुरानी फटी चिथड़ में लिपटे एक बूढ़े भिखारी को देख पत्नी का दिल द्रवित हो गया. उसने पति से कहा कि वह बूढ़ा ठंड से काँप रहा है,कार रोको. पति ने कार रोक दी. पत्नी बोली कार में जो कंबल पड़ा है उसे दें देते हैं. पति बोला-"क्या कहती हो. इतना मंहगा कंबल,वह उसे बेच देगा. ये ऐसे ही होते हैं". पत्नी न मानी. अनमने मन से पति नें कंबल उठाया और ले जाकर बूढ़े को ओढ़ा दिया-"ले बाबा ऐश कर" . अगले दिन दिन में भी बड़े ग़ज़ब की ठंड थी. पति पत्नी उसी रास्ते से निकले. सोचा देखें रात वाले बूढ़े का क्या हाल है. देखा तो बूढ़े भिखारी के पास वह कंबल नहीं था. अपनी वही पुरानी चादर ओढ़े भीख मांग रहा था. पति ने पत्नी से कहा -"मैंने कहा था कि उसे मत दो बेच दिया होगा". दोनों कार से उतर कर उसके पास गये. पति ने व्यंग्य से पूछा- "बाबा रात वाला कंबल कहाँ हैं बेच कर नशे का सामान ले आये क्या ? बूढ़े ने हाथ से इशारा किया थोड़ी दूरी पर एक बूढ़ी औरत भीख मांग रही थी. उनका दिया वही कंबल उसने ओढ़ा हुआ था. बूढ़ा बोला-"वह औरत पैरों से विकलांग है, मेरे पास तो कम से कम ये पुरानी चादर तो है, उसके पास कुछ नहीं था तो मैंने कंबल उसे दें दिया " पति पत्नी हतप्रभ रह गये, फिर धीरे से पति नें पत्नी से कहा-"घर से एक कंबल लाकर बूढ़े को दे देते हैं"

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